
भोपाल। बसपा प्रदेश की कमलनाथ सरकार को बाहर से समर्थन जारी रखेगी। बसपा सुप्रीमो मायावती के इस निर्णय की जानकारी मंगलवार को राजधानी में बसपा प्रदेश प्रभारी रामजी गौतम और प्रदेश अध्यक्ष डीपी चौधरी ने एक प्रेस कांफ्रेंस में दी। लोकसभा चुनाव के बीच गुना में बसपा उम्मीदवार को कांग्रेस द्वारा तोड़ लिए जाने के बाद मायावती ने समर्थन जारी रखने पर पुनर्विचार की धमकी दी थी।
इसके बाद सभी की निगाहें मायावती के कदम पर थी। उधर मायावती ने मध्यप्रदेश में पार्टी की आगामी रणनीति बनाने के लिए एक जून को पार्टी के मध्यप्रदेश प्रभारी, प्रदेश अध्यक्ष सहित पदाधिकारियों व दोनों विधायकों को दिल्ली तलब किया है।
बसपा के दोनों विधायक मुख्यमंत्री कमलनाथ से मंत्री पद की मांग कर रहे हंै। ऐसे में बसपा का सरकार को बाहर से समर्थन जारी रखने से साफ हो गया है कि मायावती अपने विधायकों को सरकार में शामिल नहीं कराना चाहती है। सूत्रों के मुताबिक मायावती प्रदेश के आगामी सियासी गतिविधियों पर नजर जमाए बैठी हैं। और उसी के आधार पर वे आगे कदम उठाएंगी।
मायावती मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ के प्रदेश पदाधिकारियों की संयुक्त बैठक कर लोकसभा चुनाव में पार्टी की हार की समीक्षा करेंगी। विधायकों से अलग से मुलाकात कर प्रदेश की राजनीतिक स्थिति और पार्टी की भूमिका पर चर्चा करेंगी।
बसपा विधायक कुशवाह बोले, हवा-हवाई हैं प्रलोभन की बातें
बसपा विधायक संजीव कुशवाह ने उनकी पार्टी की विधायक को भाजपा द्वारा प्रलोभन के दावे को हवा हवाई बताया है। संजीव ने कहा कि जो लोग कह रहे हैं कि उनको भाजपा की तरफ से ५० करोड़ का ऑफर आया है वे प्रमाण प्रस्तुत करें। संजीव ने कहा कि विधायक बोल रहे हैं कि उनको फोन कॉल आए लेकिन किस नंबर से आया ये नहीं बता रहे। हाल ही में बसपा विधायक रामबाई ने कहा था कि उनको भाजपा ने समर्थन देने के लिए ५० करोड़ और मंत्री पद का ऑफर दिया है।
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